Be Aulaadi Ka Qurani Wazifa In Hindi | बे औलाद लोगों के लिए कुरानी वज़ीफ़ा

Be Aulaadi Ka Qurani Wazifa In Hindi 

बे औलाद लोगों के लिए कुरानी वज़ीफ़ा

 

अस्सलामु अलयकुम दोस्तों ! पिछले कुछ दिनों पहले हमें अपने youtube Channel पर एक खातून का कमेन्ट मिला की कोई कुरानी वजीफा बता दीजिये जिससे मेरी बेऔलादी ख़त्म हो जाये और अल्लाह हमें औलाद से नवाज़े तो इस सिलसिले में पहले तो मुझे ये बात कहनी है कि इल्म हो औलाद हो या माल हो ये सब अल्लाह की नेअमतें हैं वो जिसको भी चाहता है नवाजता है |

लेकिन जो भी इन नेमतों से महरूम हो तो उसे नाउम्मीद नहीं होना चाहिए और और उसे चाहिए कि अल्लाह के सामने अपने ग़मों का दुखड़ा रोये और अपनी जाएज़ ज़रूरतों को आंसू बहाते हुए मांगे इस यकीन के साथ देने वाली ज़ात सिर्फ वही है तो इंशाल्लाह खुदा अपनी महरबानियों का साया उस पर कर देगा और नेअमतों की बौछार कर देगा और सिर्फ औलाद ही नहीं दुनिया भर की नेमतें उस के क़दमों में आ सकती है |

जैसा कि शायर ने कहा है कि

वो कौन सा काम है जो होता नहीं तेरे खुदा से

तो चलिए यहाँ पर कुछ वज़ीफे और दुआएं हम आपके सामने पेश कर रहे हैं जो कि कुरान की आयतें हैं और कई बार जिन का तजरिबा किया जा चूका है अगर इनको अपनी ज़िन्दगी में शामिल कर लें तो इंशाल्लाह महरूम नहीं रहेंगे |

 

वो वज़ीफे और दुआएं ये हैं

  1. जिस शख्स के यहाँ औलाद न होती हो तो ये दुआ 133 बार पढ़ कर पानी पर दम करें ( फूंक दें ) और फज्र नमाज़ के बाद दोनों मियां बीवी पियें

لِّلَّهِ مُلْكُ السَّمَاوَاتِ وَالْأَرْضِ ۚ يَخْلُقُ مَا يَشَاءُ ۚ يَهَبُ لِمَن يَشَاءُ إِنَاثًا وَيَهَبُ لِمَن يَشَاءُ الذُّكُورَ – 42:49

 

लिल लाहि मुल्कुस सामावाती वाल अर्ज़ याख्लुकु मा यशाऊ यहबू लिमय यशाऊ इनासव व यहबू लिमय यशाऊज़ ज़ुकूर

 

तरजुमा : ज़मीन व आसमान में बादशाहत अल्लाह ही की है वो जो चाहता है पैदा फरमाता है जिसको चाहता है बेटियां देता है जिसको चाहता है बेटे देता है

2.जो औलाद की तमन्ना करता हो उसे इन कुरान की आयात को पढता रहना चाहिए , कम से कम हर फ़र्ज़ नमाज़ के बाद तीन बार ज़रूर पढ़े शुरू और आखिर में तीन बार दुरूद शरीफ पढ़े इंशाअल्लाह नेक औलाद की नेअमत से अल्लाह तआला नवाजेगे

 

21: 89 وَزَكَرِيَّا إِذْ نَادَىٰ رَبَّهُ رَبِّ لَا تَذَرْنِي فَرْدًا وَأَنتَ خَيْرُ الْوَارِثِينَ –

व ज़करिय्या इज़ नादा रब्बहू रब्बी ला तज़रनी फरदव व अन्त खैरुल वारिसीन

तरजुमा : ए मेरे रब मुझे अकेला न छोड़ और तू बेहतरीन वारिस बनाने वाला है

 

رَبِّ هَبْ لِي مِنَ الصَّالِحِينَ – 37:100

रब्बी हब ली मिनस सालिहीन

तरजुमा : ए मेरे रब मुझे नेक बच्चा अत फरमा

 

هُنَالِكَ دَعَا زَكَرِيَّا رَبَّهُ ۖ قَالَ رَبِّ هَبْ لِي مِن لَّدُنكَ ذُرِّيَّةً طَيِّبَةً ۖ إِنَّكَ سَمِيعُ الدُّعَاءِ –3:38

हुनालिका दआ ज़करिय्या रब्बह काल रब्बी हब ली मिल लदुन्का ज़ुर्रिय यतन तय्यिबह इन्नका समीउद दुआ

तरजुमा : ए मेरे रब मुझे अपनी जानिब से नेक औलाद अता फरमा बेशक तू दुआ को खूब सुनने वाला है

 

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