ख्वाब ( Khwaab ) बयान करने वाला इन 5 बातों का हर हाल में ख्याल रखे
1. हर ख्वाब बयान न करे
आम तौर से देखा जाता है लोग हर तरह के ख्वाब बयान कर देते हैं हालाँकि हदीस से मालूम होता है कि हर खवाब बयान करने वाला नहीं होता | नबी स. अ. का फरमान है कि जब तुम में से किसी के साथ शेतान ख्वाब में खेले ( डराए या परेशान करे ) तो उसे वो ख्वाब लोगों को बताना नहीं चाहिए
2. हर शख्स से बयान न करना
ये एक दूसरी कमी है कि लोग किसी आम आदमी के सामने ही ख्वाब कहानी की तरह बयान करना शुरू हो जाते हैं सुनने वाले अपनी तरफ से ख्वाब की ताबीर देने लगते हैं
3. हर शख्स के सामने ख्वाब बयान करने के नुक्सानात
हर शख्स के सामने ख्वाब बयान करने का नुकसान ये होता है कि कोई शख्स नासमझी या दुश्मनी में ख्वाब का मजाक उडाता है या उसकी गलत ताबीर दे देता है तो उस ख्वाब देखने वाले को नुकसान पहुँचता है
ख्वाब किस के सामने बयान करना चाहिए
हदीस से मालूम होता है कि इन लोगों के सामने ख्वाब बयान करना चाहिए
1. आलिम यानी ताबीर का इल्म जानने वाला
2. समझदार अक्लमंद शख्स
3. दोस्त जो खैरख्वाह हो
हदीस मुबारक
नबी स.अ. का इरशाद है कि ख्वाब किसी आलिम या खैर ख्वाह के सामने ही बयान करो
4. ख्वाब को बयान करने में झूट से बचना
झूट गुनाहे कबीर है जिसकी जितनी बुरे की जाये कम है चूंकि अच्छे ख्वाब भी नुबुव्वत का हिस्सा होते हैं इसलिए ख्वाब बयान करने में झूट बोलने को सख्त गुनाह बतलाया गया है
5. ख्वाब बयान करने में दिखावे से बचना
इंसान जब अच्छा ख्वाब देखता है जैसे ख्वाब में नबी स. अ. का दीदार हुआ और कोई बुज़ुर्ग या मुबारक हस्ती की जियारत नसीब हुई तो तो शेतान इंसान को गुरूर और तकब्बुर में मुब्तिला करके उसका सारा अजरो सवाब और ख्वाब की बरकतों को बर्बाद करने की कोशिश में लग जाता है फिर इंसान इस धोके में आकर फख्र करते हुए दिखावे के तौर पर लोगों के सामने बयान करता है और उस ख्वाब की सारी बरकतों से महरूम हो जाता है